प्रयागराज: बीपीसीएम के ऊपर एक एसीएमओ का हाथ, इसलिए नहीं होती कार्रवाई।प्रयागराज के सैदाबाद सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर तैनात BPCM (ब्लॉक कम्युनिटी प्रोसेस मैनेजर) चंदा मौर्या का एक वीडियो वायरल हुआ है जिसमें दिखाया जा रहा है कि वह रिश्वत ले रहे हैं। वीडियो में दिखाया जा रहा है कि एक युवक BPCM को रुपए दे रहा है। BPCM रुपए अपने हाथ में लेकर गिनती करती हैं और अपने सामने टेबल पर रखते हुए युवक को आश्वस्त करती हैं कि वह समय से पहुंच जाए, उसके लिए वह ऊपर पैरवी कर देंगी। वीडियो वायरल होने के बाद मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने कहा, वीडियो की जांच कराई जा रही है, इसके बाद कार्रवाई होगी।आशा कार्यकर्ताओं का कहना है कि BPCM को एक ACMO का सह मिला हुआ जिससे वह काफी समय से सैदाबाद सीएचसी पर तैनात हैं, जबकि उनका ट्रांसफर दूसरे सीएचसी के लिए हो चुका है।CMO के निरीक्षण में खुली थी पोलBPCM चंदा मौर्या पहले खुद वाराणसी में आशा कार्यकर्ता के पद पर कार्यरत थीं। लेकिन अच्छी सेटिंग होने के कारण वह प्रयागराज में BPCM के पद तक पहुंचने में सफल रहीं। पूर्व में सीएमओ रहे डॉ. जीएस वाजपेयी एक बार सैदाबाद सीएचसी का निरीक्षण करने पहुंचे थे तो वहां इस BPCM चंदा मौर्या की लापरवाही सामने आ गई थी। सीएमओ करीब 09 बजे ही सीएचसी पर पहुंच गए थे लेकिन BPCM चंदा मौर्या और BPM (ब्लॉक प्रोसेस मैनेजर) अनवर आलम उपस्थिति पंजिका पर सुबह 10 बजे का समय दिखाकर यह लिख दिया था कि वह फील्ड में जा रहे हैं। इस पर निवर्तमान सीएमओ डॉ. वाजपेयी ने दोनों के खिलाफ कार्रवाई की संस्तुति करते हुए BPCM का स्थानांतरण रामनगर सीएचसी के लिए कर दिया था। इसके बावजूद वह वहां नहीं गईं।रिश्वत नहीं उधार के पास वापस लिए थे : BPCM“” के सवाल पर BPCM चंदा मौर्या ने कहा कि जो वीडियो वायरल किया गया है वह पूरी तरह से निराधार है। वह रिश्वत के रुपए नहीं बल्कि हमने एक आशा सुनीता पांडेय को रुपए उधार दिए थे, वही रुपए वह वापस भेजी थी। उन्होंने कहा, ममता यादव नाम की एक आशा जो लंबे समय से काम नहीं कर रही हैं और विभाग से पैसे ले रही हैं। जब काम के लिए कहा जाता है तो अपने तथाकथित पत्रकार बेटे से धमकी दिलाती हैं। इस बार भी यही हुआ है।
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