खंडवा। वृद्धा का हत्यारा किरायेदार का बेटा ही निकला। किरायेदार के बेटे शैलेंद्र सिंह ने वृद्धा को घर में अकेली पाकर पहले उसके साथ दुष्कर्म किया। जब उसने शोर मचाया तो आरोपित ने गला घोटकर उसकी हत्या कर दी। जांच में वृद्धा के गले पर नाखूनों के निशान थे, पुलिस को इसी से हत्या की आशंका हुई थी। आरोपित ने दुष्कर्म और हत्या के बाद अपने नाखून कांटे और उन्हें घर के ही डस्टबिन में डाल दिए।
आरोपित ने पुलिस से बचने के लिए साक्ष्य मिटाने के भरपूर प्रयास किया, लेकिन वह सफल नहीं हो पाया। पुलिस ने आरोपित का मोबाइल ट्रेसिंग पर डाल दिया। मोबाइल की लोकेशन बड़वानी में मिली। महाराष्ट्र भागने से पहले ही बड़वानी पुलिस की मदद से आरोपित को गिरफ्तार कर लिया और उसने अपना अपराध भी स्वीकार कर लिया।
विशेषज्ञ पैनल ने मौखिक रूप से की थी दुष्कर्म की पुष्टि
उधर, पोस्टमार्टम के बाद वृद्धा के साथ दुष्कर्म की मौखिक रूप से पुष्टि विशेषज्ञ पैनल ने भी कर दी। उल्लेखनीय है कि नईदुनिया ने मंगलवार (चार फरवरी) के अंक में ‘घर में घुसा किरायेदार, वृद्धा चिल्लाई तो कर दी हत्या’ शीर्षक से प्रमुखता से खबर प्रकाशित किया था। खबर में किरायेदार के बेटे ने ही गलत इरादे से वृद्धा की हत्या का जिक्र भी था।
घर का सामान बिखरा पड़ा था
सोमवार को कंट्रोल रूम में पुलिस अधीक्षक मनोज कुमार राय ने पूरे घटनाक्रम की जानकारी देते हुए बताया कि सूचना पर पुलिस टीम मौके पर पहुंची। तब घर का सामान बिखरा पड़ा था। महिला के बेटे और बहू बाहर गए थे। स्वजन ने बताया कि घर में 45 हजार रुपये थे, वो भी गायब है। घर का सामान भी बिखरा पड़ा था, वृद्धा के मुंह पर तकिया पड़ा हुआ था। इससे पुलिस को पहले आशंका थी कि ये चोरी या लूटकर हत्या का मामला है।
डस्टबिन में पड़े थे कटे हुए नाखून
इस दौरान जब पुलिस घटनास्थल पहुंची तो आरोपित शैलेंद्र गुमराह करने के लिए घर के दरवाजे पर ही बैठा रहा। जैसी ही पुलिस पहली मंजिल पर घटनास्थल पहुंची। इसी दौरान आरोपित मौके से फरार हो गया। इस पर पुलिस को शंका और गहरा गई।
जांच में पुलिस को 45 हजार घर में ही मिले तो चोरी या लूट की आशंका भी खत्म हो गई। इस पर पुलिस ने अन्य साक्ष्य जुटाना शुरू कर दिया। इसी दौरान पुलिस को डस्टबिन में नाखून पड़े मिले।
17 साल से मुंबई में था आरोपित, आठ दिन पहले आया था
आरोपित शेलेंद्र सिंह के पिता पोस्ट ऑफिस इंदौर से सेवानिवृत्त हुए थे। परिवार बड़वानी का रहने वाला है। आरोपित की मौसी खंडवा में रहती थी। इसीलिए उसके माता-पिता भी खंडवा आ गए थे। यहां वृद्धा के घर में तीन माह पहले ही किराये से रहने आए थे। आरोपित पिछले 17 से महाराष्ट्र में रह रहा था। आठ दिन पहले ही वो अपने माता-पिता के पास खंडवा आया था और रविवार को वृद्धा को घर में अकेली पाकर वारदात को अंजाम दे दिया।
आरोपित की मां बोली- इसे मार डालो
आरोपित शेलेंद्र सिंह की मां उसकी इस हरकत से काफी आहत नजर आई। पुलिस मंगलवार को आरोपित को लेकर जब घटनास्थल पर क्राइम सीन रिक्रेट करने पहुंची तब उसकी मां भी वहां मौजूद थी। आरोपित बेटे को देख उसने कहा कि साहब यह जीने लायक नहीं है, इसे तो मार डालो।
वहीं वृद्धा के स्वजन बोले- हमने कभी सपने में भी नहीं सोचा था कि कोई ऐसा कर सकता है। उसे रुपये चाहिए थे तो ले जाता, लेकिन हत्या क्यों की। हालांकि इस समय तक परिवार को वृद्धा के साथ हुए दुष्कर्म की जानकारी नहीं थी।
इनकी रही सराहनीय भूमिका
थाना कोतवाली प्रभारी निरीक्षक अशोक सिंह चौहान एवं उनकी टीम के उनि संतोष सांवले, उनि मनोज दवे, सउनि विनय राजपूत, प्रआर श्रवण लौवंशी, इरशाद, कमल पचोले, प्रआर लतेशपाल सिंह तोमर, प्रआर अमित यादव, अनिल वछाने, विनोद, विजय गेहलोद, भारती, नगर सैनिक ललिता, सायबर सेल प्रआर जितेंद्र राठौर, विकम वर्मा, उनि गणेश पाटीदार आदि का इस वारदात को सुलझाने में अहम योगदान रहा। एसपी ने टीम को 10 हजार रुपये का पुरस्कार देने की घोषणा की।
Comments are closed, but trackbacks and pingbacks are open.